सुशील कौशिक
ग्वालियर में देश का पहला जियो साइंस म्यूजियम बनकर तैयार हो चुका है. म्यूजियम की पहली गैलरी बनकर तैयार है. इसमें पृथ्वी का जन्म, डायनासोर का दौर, पृथ्वी का सेंट्रल कोर और देश-दुनिया के बेशकीमती जेम्स-स्टोंन सहित अन्य जानकारियां मिल सकेंगी. साथ ही दूसरी गैलरी में पृथ्वी पर जीव जंतुओं की उत्पत्ति कैसे हुई, इसकी जानकारी मिलेगी.
देश का पहला जिओ साइंस म्यूजियम ग्वालियर में बनकर तैयार हो गया है. 35 करोड़ की लागत से तैयार इस म्यूजियम को ग्वालियर के हृदय स्थल महाराज बाड़ा स्थित हेरिटेज विक्टोरिया बिल्डिंग में तैयार किया गया है. इस म्यूजियम में दो गैलरिया हैं. पहली गैलरी इवोल्यूशन ऑफ अर्थ और दूसरी गैलरी इवोल्यूशन ऑफ लाइफ के बारे में जानकारी देगी. ग्वालियर नगर निगम की मदद से खनन मंत्रालय और जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया ने मिलकर इस म्यूजियम को तैयार किया है. इसी महीने म्यूजियम का शुभारंभ देश की बड़ी शख्सियत द्वारा किया जा सकता है.
ग्वालियर के हृदय स्थल महाराज बाड़े पर नजर आ रही यह ऐतिहासिक विक्टोरिया बिल्डिंग है, जिसमें देश का पहला जिओ साइंस म्यूजियम तैयार हो गया है. बीती 9 मार्च 2019 को केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने इस म्यूजियम का शिलान्यास किया था. इस म्यूजियम के जरिए आपको उन सवालों के जवाब बेहद ही आसानी से मिल जाएंगे जो हर किसी के मन में आज भी उठते हैं. जैसे पृथ्वी का जन्म कैसे हुआ? पृथ्वी का सेंट्रल कोर कैसा होता है? यदि पृथ्वी के केंद्र बिंदु में पहुंचना हो तो वहां पर कैसे पहुंचेंगे और क्या-क्या होगा? पृथ्वी पर जीव की उत्पत्ति कैसे हुई? ज्वालामुखी कैसे एक्टिव होते हैं? जब भूकंप आता है तब क्या होता है? पृथ्वी पर डायनासोर कैसे खत्म हुए? ऐसे तमाम सवालों से जुड़ी जानकारी ग्वालियर में तैयार हुए जियो साइंस म्यूजियम में आसानी से समझी जा सकती हैं.
जियो साइंस म्यूजियम को दो गैलरियों में बांटा गया है. पहली गैलरी इवोल्यूशन ऑफ अर्थ के बारे में जानकारी देती है जो की पूरी तरह से तैयार भी हो चुकी है. वहीं दूसरी गैलरी इवोल्यूशन ऑफ लाइफ के बारे में जानकारी देगी. उम्मीद की जा रही है कि आने वाले 6 महीने में यह गैलरी भी पूरी तरह से तैयार हो जाएगी. जियो साइंस म्यूजियम को लेकर ग्वालियर के नगर निगम आयुक्त किशोर कुमार कन्याल का कहना है कि इस म्यूजियम के जरिए ग्वालियर को देशभर में पहचान मिलेगी. इसके साथ ही ज्यादा से ज्यादा लोग इस म्यूजियम को देखें और इसके जरिए अपनी नॉलेज को बढ़ाएं इसको देखते हुए ग्वालियर नगर निगम ने बैठक के जरिए तय किया है कि म्यूजियम को देखने के लिए आम व्यक्ति को महज 25 रुपये और स्टूडेंट को केवल 10 रुपए देने होंगे.
म्यूजियम के फर्स्ट फेज में पहली गैलरी तैयार होने पर निरीक्षण करने पहुंचे जीएसआई के महानिदेशक डॉ एस राजू का कहना है कि पहली गैलरी तैयार होने के बाद यही उम्मीद की जा रही है कि जल्द दूसरे फेज में दूसरी गैलरी को तैयार कर लिया जाएगा. इसके अलावा अप्रैल के महीने में ही इस म्यूजियम को आम लोगों को समर्पित करते हुए इसका शुभारंभ देश की बड़ी शख्सियत से कराए जाने की प्लानिंग है. इस म्यूजियम की यूं तो बहुत सारी खासियत है, लेकिन यहां पर ऐसी दुर्लभ चीजें भी मौजूद है जो देश-दुनिया के अंटार्कटिका, जापान सहित दुनिया के अलग-अलग इलाकों से लाई गई है. खासकर जेम्स स्टोन, बेशकीमती हीरे जिनकी कीमत करोड़ों और अरबों में है. लोग इन्हें आसानी से एक ही जगह पर देख सकते हैं.
गौरतलब है कि ग्वालियर नगर निगम, खनन मंत्रालय भारत सरकार और जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया के संयुक्त प्रयास से देश का पहला जिओ साइंस म्यूजियम ग्वालियर में तैयार हो गया है. खनन मंत्रालय और जीएसआई की योजना है कि आने वाले दिनों में मध्यप्रदेश के जबलपुर में ही जियो साइंस पार्क तैयार कराया जाए. ऐसे में मध्यप्रदेश के नाम एक और बड़ी उपलब्धि जुड़ सकेगी.
(‘न्यूज़18 हिंदी’ के साभार )